शिव नवरात्रि के षष्टम दिवस बाबा महाकाल ने दिये मनमहेश स्वरूप में दर्शन।

उज्जैन । मंगलवार फाल्गुन कृष्ण दशमी विक्रम संवत 2080 शिव नवरात्रि के षष्ठम् दिवस सांध्य पूजन के पश्यात भगवान श्री महाकालेश्वर ने सभी भक्तों के मन को मोहित करने वाले श्री मनमहेश स्वरूप धारण भक्तों को दर्शन दिये।

प्रातः श्री महाकालेश्वर मंदिर के नेवैद्य कक्ष में भगवान श्री चन्द्रमौलीश्वर का पूजन किया गया तथा कोटितीर्थ कुण्ड के पास स्थापित श्री कोटेश्वर महादेव के पूजन के पश्चात मुख्य पुजारी पं.श्री घनश्याम शर्मा के आचार्यत्व में 11 ब्राह्मणों द्वारा श्री महाकालेश्वर भगवान का अभिषेक एकादश-एकादशनी रूद्रपाठ से किया गया तथा संध्या पूजन के पश्चात बाबा श्री महाकाल को पीले रंग के वस्त्र धारण करवाये गये, साथ ही भगवान श्री महाकालेश्वर के श्री मनमहेश रूप का श्रृंगार कर बाबा को मुकुट, मुण्ड माला एवं फलों की माला धारण करायी गयी।

भगवान श्री महाकालेश्वर जी के इन अलौकिक दर्शन का पुण्य लाभ श्रद्धालुओं को रात्रि होने वाली शयन आरती तक प्राप्त होता है | श्री महाकालेश्वर मंदिर का सम्पूर्ण प्रांगण जय श्री महाकाल के जयकारों से गुंजायमान हो जाता है |

श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति द्वारा कथारत्न हरि भक्त परायण पं. श्री रमेश कानडकर जी के शिव कथा व हरि कीर्तन का आयोजन सायं 04:30 से 06 बजे तक मन्दिर परिसर मे नवग्रह मन्दिर के पास संगमरमर के चबूतरे पर चल रहा है। तबले पर संगत श्री असीम कानडकर ने की।
06 मार्च बुधवार एकादशी को भगवान श्री महाकालेश्वर जी ने श्री उमा-महेश के रूप में दर्शन देंगे।