नगरीय निकायों में नाम निर्देशन पत्र के साथ प्रस्तुत किये जाने वाले शपथ-पत्र के सम्बन्ध में दिशा-निर्देश जारी किये।

उज्जैन । राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा नगरीय निकायों के आम निर्वाचन में लड़ने वाले अभ्यर्थियों द्वारा नाम निर्देशन पत्र प्रस्तुत किये जाने वाले शपथ-पत्र के सम्बन्ध में कलेक्टर एवं जिला निर्वाचन अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी किये हैं। उप जिला निर्वाचन अधिकारी ने इस सम्बन्ध में उज्जैन नगर पालिक निगम के समस्त सहायक रिटर्निंग अधिकारी, जिले की समस्त नगरीय निकायों के रिटर्निंग अधिकारियों को आवश्यक निर्देश जारी कर दिये हैं।

आदेश के तहत शपथ-पत्र के प्रारूप में संशोधन पश्चात इसका प्रकाशन मप्र राजपत्र में गत 31 मई में किया जाकर जिला निर्वाचन अधिकारियों को प्रेषित किया गया है, जिसमें उल्लेख है कि नगर निगम के महापौर तथा पार्षद, नगर पालिका परिषद तथा नगर परिषद के पार्षद पद। नगरीय निकायों के आम निर्वाचन हेतु आयोग की निर्वाचन शाखा द्वारा पूर्व में शपथ पत्र की प्रतियां मुद्रित कराकर जिलों को प्रदाय की गई है। इसमें लेख है कि नगर पालिक निगम, नगर पालिका परिषद एवं नगर परिषद के महापौर/अध्यक्ष तथा पार्षद पद। उपरोक्तानुसार अब नगरीय निकायों के निर्वाचन लड़ने वाले अभ्यर्थियों को नाम निर्देशन पत्र के साथ जो शपथ पत्र प्रस्तुत किया जाना है उसकी कंडिका-1 में निम्नानुसार उल्लेख होना अपेक्षित है “नगर पालिक निगम के महापौर तथा पार्षद, नगर पालिका परिषद तथा नगर परिषद के पार्षद पद।” अत: पूर्व से कंडिका-2 अनुसार मुद्रित शपथ पत्र में महापौर पद के अभ्यर्थी के लिये पार्षद को काट दिया जाये और पार्षद पद के अभ्यर्थी के लिये महापौर को काट दिया जाये। मप्र नगर पालिका निर्वाचन नियम में प्रदत्त शक्तियों का उपयोग करते हुए राज्य निर्वाचन आयोग ने निर्देश दिया है कि कंडिका-4 के निर्देशों का पालन करते हुए पूर्व से मुद्रित शपथ पत्र का उपयोग निर्वाचन प्रक्रिया हेतु उपयोग किया जाये।